Wednesday, May 1, 2013

कार्टून कुछ कहता है - प्रजातंत्र की याद में !


9 comments:

  1. आते ही धमाका ... इतने दिनों बाद आए ओर सटीक निशाना ...

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  2. सटीक स्मारिका!

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  3. सच में..किस-किस का लिखते..किस-किस का छोड़ते...लिखकर हटते तो एक नया नाम आ जाता....जिसका नाम छोड़ देते ..वो आपसे अलग नाराज हो जाता....बढ़िया किया जो किसी का नाम नहीं लिखा..

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  4. घोटालेबाजों का नाम खुदवाने के लिए अपर्याप्‍त दीवार स्‍थल।

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  5. बहुत मजबूत गेट ..

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सहज-अनुभूति!

निमंत्रण पर अवश्य आओगे, दिल ने कहीं पाला ये ख्वाब था, वंशानुगत न आए तो क्या हुआ, चिर-परिचितों का सैलाब था। है निन्यानबे के फेर मे चेतना,  कि...