As cliché as
this might sound,
it is really true,
what goes around
comes around.
So, it would be
appropriate always
that the flight of
our wishes
should always match
the reality of the ground .
...............नमस्कार, जय हिंद !....... मेरी कहानियां, कविताएं,कार्टून गजल एवं समसामयिक लेख !
पता नहीं , कब-कहां गुम हो गया जिंदगी का फ़लसफ़ा, न तो हम बावफ़ा ही बन पाए और ना ही बेवफ़ा।
आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल रविवार (03-01-2021) को "हो सबका कल्याण" (चर्चा अंक-3935) पर भी होगी।
ReplyDelete--
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
--नववर्ष-2021 की मंगल कामनाओं के साथ-
हार्दिक शुभकामनाएँ।
--
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
--
सटीक ।
ReplyDeleteनववर्ष मंगलमय हो।