Thursday, March 21, 2013

कार्टून कुछ बोलता है- कैसे नहीं चलेगी सरकार ?


7 comments:

  1. यही दर तो साथ देने पर मजबूर करता है ॥सब एक ही थैले के चट्टे बट्टे हैं ।

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  2. मैं तुझे डराऊं, तू मुझे डराये
    जिसकी बारी आये, दांव दे जाये
    ईमानदार राजनेता हैं हम तो ताऊ
    कभी अपनों को दगा नही देते भाऊ

    रामराम

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  3. छापा करुना पर पड़ा, ममता थी निर्दोष ।
    महाठगिन माया ठगी, हृदय मुलायम तोष ।

    हृदय मुलायम तोष, बड़ा मोहन मन सच्चा ।
    छोड़ हमें जो जाय, उड़ा देते परखच्चा ।

    सी बी आय संकेत, खो रही सत्ता आपा ।
    टला बहुत स्टालिन, आज पड़ जाता छापा ॥

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  4. लोग पहले से समझते ही नहीं हैं..

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  5. बढ़िया है ,महोदय....
    साभार...

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  6. ये तो होना ही था ...
    सी बी आई मेरी जेब में जो रहती है ...

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वक्त की परछाइयां !

उस हवेली में भी कभी, वाशिंदों की दमक हुआ करती थी, हर शय मुसाफ़िर वहां,हर चीज की चमक हुआ करती थी, अतिथि,आगंतुक,अभ्यागत, हर जमवाडे का क्या कहन...